Political battle over yellow scarf

बलिया में पीले गमछे को लेकर सियासी हलचल तेज हो गई है। योगी सरकार के दो मंत्री, दयाशंकर सिंह और अरुण राजभर, आमने-सामने आ गए हैं। यह विवाद तब शुरू हुआ जब अरुण राजभर ने एक बयान दिया, जिसमें उन्होंने पुलिस के खिलाफ तीखी टिप्पणी की। इस पर परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह ने कड़ी प्रतिक्रिया दी और कहा कि अब यह योगी जी की पुलिस है, जो किसी भी गलत हरकत को बर्दाश्त नहीं करेगी।

सियासी बयानबाजी का दौर

इस विवाद की शुरुआत तब हुई जब भाजपा कार्यकर्ता उमापति राजभर के साथ पुलिस ने कथित तौर पर मारपीट की। इसके बाद अरुण राजभर ने बयान दिया कि जो भी पीले गमछे के साथ दुर्व्यवहार करेगा, उसकी आंखें निकाल ली जाएंगी। इस पर दयाशंकर सिंह ने कहा कि अगर कोई ऐसी हरकत करेगा, तो पुलिस उसका कलेजा निकाल लेगी। यह बयानबाजी अब सियासी रंग ले चुकी है और दोनों मंत्री एक-दूसरे के खिलाफ मोर्चा खोले हुए हैं।

योगी सरकार की पुलिस

दयाशंकर सिंह ने जोर देकर कहा कि अब उत्तर प्रदेश में योगी जी की पुलिस है, जो कानून व्यवस्था को सख्ती से लागू कर रही है। उन्होंने कहा कि पहले की सरकारों में अपराधियों को खुली छूट थी, लेकिन अब ऐसा नहीं है। अब अपराधी या तो राज्य छोड़ चुके हैं या फिर कानून के शिकंजे में हैं। यह सब योगी सरकार के नेतृत्व का परिणाम है, जो कानून का राज स्थापित कर रही है।

विवाद का असर

इस विवाद का असर राज्य की राजनीति पर भी पड़ रहा है। दोनों मंत्रियों के बीच की इस खींचतान ने सरकार के भीतर की दरारों को उजागर कर दिया है। हालांकि, यह देखना दिलचस्प होगा कि इस विवाद का अंत कैसे होता है और क्या यह सरकार की छवि पर कोई असर डालता है। 

निष्कर्ष

पीले गमछे को लेकर शुरू हुआ यह विवाद अब सियासी संग्राम का रूप ले चुका है। दोनों मंत्री अपनी-अपनी बात पर अड़े हुए हैं और यह विवाद जल्द खत्म होता नहीं दिख रहा। यह देखना बाकी है कि इस विवाद का अंत कैसे होता है और क्या यह सरकार की छवि पर कोई असर डालता है।